Rahul Saini Hatya Ka Mamla Suljha (Bijnor)
बिजनौर (संवाददाता महेंद्र सिंह) : बिजनौर (Bijnor) जिले के नगीना थाना क्षेत्र में हुए राहुल सैनी आत्महत्या प्रकरण में पुलिस ने बड़ा खुलासा किया है। पुलिस ने जांच में पाया कि मृतक राहुल सैनी को एक सूदखोर लेखपाल और एक भाजपा नेता ने कर्ज के जाल में फंसा रखा था, जिसके चलते उसने आत्महत्या जैसा गंभीर कदम उठाया।
पुलिस ने मामले में मुख्य आरोपी लेखपाल बीरेंद्र सैनी को गिरफ्तार कर लिया है, जबकि दूसरा आरोपी भाजपा नेता अब भी फरार बताया जा रहा है। उसकी तलाश में पुलिस की टीमें लगातार दबिश दे रही हैं।

30 अक्टूबर को ट्रेन से कटकर दी थी जान
बिजनौर (Bijnor) की घटना 30 अक्टूबर की है, जब राहुल सैनी (निवासी – लाल सराय, थाना नगीना) ने ट्रेन के आगे कूदकर आत्महत्या कर ली थी। मौके से कोई सुसाइड नोट बरामद नहीं हुआ था, लेकिन शुरुआती जांच में आर्थिक दबाव और निजी परेशानियों की बात सामने आई थी।
बिजनौर (Bijnor) पुलिस ने जब मोबाइल कॉल रिकॉर्ड और लेन-देन की जानकारी खंगाली तो चौंकाने वाले तथ्य सामने आए। जांच में पता चला कि राहुल पर सूदखोरों का काफी कर्ज था, और उसे लगातार धमकियां दी जा रही थीं।
कर्ज पर लिया ब्याज बना मौत की वजह
बिजनौर (Bijnor) पुलिस के अनुसार, मृतक राहुल ने अपने निजी कार्यों के लिए लेखपाल बीरेंद्र सैनी और एक स्थानीय भाजपा नेता से कुछ समय पहले उच्च ब्याज दर पर पैसा उधार लिया था। ब्याज इतना अधिक था कि कुछ ही महीनों में रकम कई गुना बढ़ गई।
जब राहुल पैसे लौटाने में असमर्थ हुआ, तो आरोपियों ने उसे शारीरिक और मानसिक रूप से प्रताड़ित करना शुरू कर दिया। परिवार वालों का कहना है कि राहुल को रोजाना फोन पर धमकियां मिलती थीं।
इन परिस्थितियों से तंग आकर राहुल ने 30 अक्टूबर की सुबह ट्रेन के सामने कूदकर जान दे दी।
पुलिस जांच में खुलासा: “सूदखोरी कर रहे थे आरोपी”
बिजनौर (Bijnor) जिले की नगीना पुलिस ने मामले में तेजी दिखाते हुए जांच शुरू की। थाना प्रभारी ने बताया कि आरोपियों ने ब्याज दरें 10 से 15 प्रतिशत प्रतिमाह तक रखी थीं, जो अवैध हैं।
एसपी बिजनौर के अनुसार, “लेखपाल बीरेंद्र सैनी सरकारी कर्मचारी होते हुए भी अवैध सूदखोरी में लिप्त था। उसने अपने पद का दुरुपयोग किया और आम लोगों से भारी ब्याज वसूला। जांच में यह भी सामने आया कि भाजपा नेता के साथ मिलकर वह कई लोगों से इसी तरह लेन-देन करता था।”
मुख्य आरोपी गिरफ्तार, दूसरा फरार
बिजनौर (Bijnor) पुलिस ने मंगलवार को मुख्य आरोपी लेखपाल बीरेंद्र सैनी को गिरफ्तार कर लिया। उससे पूछताछ की जा रही है और कई अहम दस्तावेज बरामद किए गए हैं, जिनमें अन्य लेन-देन के रिकॉर्ड शामिल हैं।
दूसरा आरोपी भाजपा नेता अभी फरार बताया जा रहा है। पुलिस ने उसकी गिरफ्तारी के लिए कई संभावित ठिकानों पर छापेमारी की है।
पुलिस ने बताया कि दोनों आरोपियों के खिलाफ धारा 306 (आत्महत्या के लिए उकसाना) और सूदखोरी अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है।
परिवार में मातम, न्याय की मांग
राहुल के परिवार ने आरोप लगाया कि अगर पुलिस ने पहले ही सूदखोरों के खिलाफ कार्रवाई की होती, तो यह हादसा नहीं होता। परिजनों ने मांग की है कि दोनों आरोपियों को कड़ी सजा दी जाए और सरकारी लेखपाल को नौकरी से बर्खास्त किया जाए।
राहुल की मौत के बाद लाल सराय गांव में शोक की लहर है। स्थानीय लोगों ने प्रशासन से सूदखोरी पर रोक लगाने और कर्ज के नाम पर होने वाले अत्याचारों के खिलाफ सख्त कदम उठाने की मांग की है।
प्रशासन सतर्क, जिले में बढ़ाई निगरानी
एसपी बिजनौर (Bijnor) ने कहा कि “यह एक गंभीर सामाजिक अपराध है। सूदखोरी की शिकायतों पर अब सख्त निगरानी रखी जाएगी। किसी भी सरकारी कर्मचारी या राजनीतिक व्यक्ति के खिलाफ शिकायत मिलने पर तुरंत कार्रवाई की जाएगी।”
राहुल सैनी की आत्महत्या ने एक बार फिर यह सवाल खड़ा कर दिया है कि आर्थिक दबाव और सूदखोरी जैसी काली गतिविधियाँ समाज के युवाओं को किस हद तक तोड़ रही हैं। पुलिस की कार्रवाई से जहां परिजनों को थोड़ी राहत मिली है, वहीं जिले में अब अवैध कर्ज वसूली के खिलाफ प्रशासन की सख्ती बढ़ने की उम्मीद है।